Tulsi Rahasya (Bangla) तुलसी रहस्य (बांगला) ISBN (Paper Back):978-93-89972-42-9 ISBN (E-Book):978-93-90306-87-9 E-store तुलसी सम्पूर्ण धरा के लिए वरदान है, अत्यंत उपयोगी औषधि है, मात्र इतना ही नहीं, यह तो मानव-जीवन के लिए अमृत है ! तुलसी की महत्ता जन-जन तक पहुँच सके और लोग इसका लाभ ले सकें - इस उद्देश्य से पूज्य संत श्री आशारामजी बापू की प्रेरणा व विश्वमांगल्य की दृष्टि से ‘तुलसी रहस्य’ पुस्तक बनाने का प्रयास किया गया है । सत्शास्त्रों तथा पूज्य बापूजी के संदेशों व कुंजियों से संकलित इस पुस्तक में आप पायेंगे :* शरीर-स्वास्थ्य, पर्यावरण, धार्मिक, आध्यात्मिक, वैज्ञानिक आदि विभिन्न दृष्टियों से तुलसी की महत्ता व उपयोगिता* धन-सम्पदा, चेहरे की चमक व स्मृतिशक्ति बढ़ाने के उपाय* घर के झगड़े, रोग-बीमारियाँ आदि कई समस्याओं का समाधान* भगवद्भक्ति व सुख-शांति पाने के उपाय* कैसे है तुलसी हमारी रक्षक और पोषक ?* गुणों की खान : तुलसी* तुलसी देती आरोग्य-लाभ के साथ सुख-शांति व समृद्धि भी* शास्त्रों में वर्णित तुलसी-महिमा* धन-सम्पदाप्रदायिनी व दरिद्रतानाशक तुलसी* तुलसी एक, लाभ अनेक* जब तुलसी के पौधे से निकले दिव्य पुरुष* विज्ञान भी नतमस्तक हुआ तुलसी की उपयोगिता के आगे* कम लागत, कम मेहनत और लाभ कई गुना* तुलसी : एक अद्भुत औषधि* तुलसी के कुछ औषधीय प्रयोग* कैंसर मिटाने का अनुभूत उपाय* ओजवान-तेजवान बनने का प्रयोग* तुलसी की कुछ औषधियाँ* तुलसी-पत्र तोड़ने का मंत्र, समय, दिन, सेवन आदि से संबंधित आवश्यक सावधानियाँ * तुलसी के प्रयोग से कैंसर से मुक्ति (अनुभव)* 12 वर्षों के बाद मिला अनिद्रा से छुटकारा (अनुभव)* तुलसी-माला की महिमा* अकाल मृत्यु के बाद भी जीवात्मा को नहीं ले जा सके यमदूत - तुलसी-माहात्म्य की सत्य घटना* तुलसी-माला बनी रक्षा-कवच (अनुभव)* बापूजी से स्पर्शित तुलसी-माला बनी संजीवनी बूटी (अनुभव)* घर के झगड़े मिटाकर सुख-शांति लाने हेतु एक उपाय* 25 दिसम्बर को क्यों मनायें ‘तुलसी-पूजन दिवस’ ?* विश्वगुरु भारत कार्यक्रम की रूपरेखा* ‘घर-घर तुलसी लगाओ’ अभियान* तुलसी और पर्यावरण* उत्तम स्वास्थ्य एवं दीर्घायुष्य की प्राप्ति हेतु* ‘कलियुगी पूतनाएँ’ हैं तथाकथित विदेशी गायें ?* बल, बुद्धि, स्फूर्ति, स्मृतिवर्धक विभिन्न पेय* तुलसी-महत्ता विषयक भगवान शिवजी के श्रीवचन* भगवान रामजी, श्रीकृष्णजी, सीताजी व पार्वतीजी आदि अवतारों ने भी की तुलसी सेवा-पूजा Previous Article Shri Guru Gita (Bangla) Next Article Prabhu Param Prakash Ki Aur Le Chal (Bangla) Print 340 Rate this article: No rating Please login or register to post comments.